टीबी सप्रू चिकित्सालय को कायाकल्प की उम्मीद, असेसमेंट पूरा

 प्रयागराज : राष्ट्रीय स्वास्थ्य मिशन के अंतर्गत वर्ष 2021-22 के लिए कायाकल्प अवार्ड योजना के अन्तर्गत शुक्रवार को तेज बहादुर सप्रू चिकित्सालय का असेसमेंट किया गया। भारत सरकार की ओर से भेजे गए जाँचकर्ता के तौर पर डॉ॰ एएस त्रिपाठी, डॉ॰ आशुतोष व डॉ॰ धर्मेंद्र पाठक रहे। इन्होने चिकित्सालय में बेहतर स्वास्थ्य सेवाओं और मानकों की जांच की व चिकित्सालय की विशेष व्यवस्था व उपलब्धि की प्रसंशा भी की।

ए.सी.एम.ओ. डॉ॰ सत्येन राय ने बताया कि कायाकल्प अवार्ड योजना के तहत टीबी सप्रू चिकित्सालय का असेसमेंट आज पूरा हो चुका है। जहां शासन की ओर से आए विशेषज्ञों ने चिकित्सालय क्षेत्र में भ्रमण किया व व्यवस्था के मानकों पर निरीक्षण किया। अब 30 अक्टूबर को असेसमेंट हेतु जिला महिला चिकित्सालय (डफरिन) जाएगी शासन की टीम। जनपद के दोनों चिकित्सालयों का कायाकल्प अवार्ड योजना के लिए चयन होना तय माना जा रहा है। एंक्वास हासिल करने हेतु चिकित्सालयों को राष्ट्रीय स्तर के मानकों को अपने केन्द्र पर स्थापित करना पड़ता है। एन्क्वास अवार्ड के लिए विभिन्न स्वास्थ्य चिकित्सालयों के लिए तीन स्तरों पर मानक निर्धारित हैं। कोई स्वास्थ्य केंद्र जब पहले स्तर के मानकों को कम से कम 70 प्रतिशत तक प्राप्त कर लेता है तभी उसे दूसरे स्तर पर जांचा जाता है।

व्यवस्था से प्रभावित हुए विशेषज्ञ
टीबी सप्रू की मुख्य चिकित्सा अधीक्षिका डॉ. किरण मलिक ने बताया कि ‘चिकित्सालय में साफ-सफाई की व्यावस्था से निरीक्षण को आए विशेषज्ञ बहुत प्रभावित हुए। इसके लिए उन्होने हमारे सफाईकर्मियों की प्रशंसा की। इसके साथ ही वह चिकित्सालय में मौजूद हर्बल गार्डन व आमजन हेतु सुलभ चिकित्सा व्यवस्था की तारीफ की है। हमारे पूरे स्टाफ ने एन्क्वास सर्टिफ़िकेशन के लिए कड़ी मेहनत की है। हमें पूरी आशा है कि हम सर्टिफिकेट प्राप्त करेंगे और हॉस्पिटल में दी जा रही सेवाओं और क्षमता को और बेहतर करेंगे।

क्वालिटी एश्योरेंस के जिला सलाहकार डॉ. सुभेन्द्र विक्रम सिंह ने बताया कि आज टीबी सप्रू चिकित्सालय में हुए कायाकल्प अवार्ड योजना चेकलिस्ट के अनुसार करीब 8 विभागों का असेसमेंट हुआ। इन विभागों में ब्लड-बैंक, ओ.पी.डी., रेडियोलॉजी, अमरजेंसी, पैथोलॉजी, पीकू (पीडियाट्रिक इंटेंसिव केयर यूनिट) वार्ड की चिकित्सा व्यवस्था का निरीक्षण कियाया गया। असेसमेंट की रिपोर्ट जमा होने के बाद भारत सरकार द्वारा निर्धारित विभिन्न मानदंडो पर जाँच के बाद लगभग एक से डेढ़ माह में इसका परिणाम घोषित किया जाता है। इसके तहत सरकारी अस्पतालों में स्वास्थ्य सुविधाएं बढ़ाने एवं उनकी गुणवत्ता में सुधार लाने के लिए प्रोत्साहन राशि भी दी जाती है।

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